डॉ. शरद सिंह का सम्मान
सागर। बुंदेलखंड
सागर की साहित्यकार डॉ. सुश्री शरद सिंह को उनके श्रेष्ठ कथालेखन के लिए पटना, बिहार में साहित्यिक पत्रिका ‘नई धारा’ द्वारा आयोजित समारोह में ‘नई धारा रचना सम्मान’ से सम्मानित
किया गया। जिसमें उन्हें पच्चीस हजार रुपए सहित प्रशस्ति पत्र, प्रतीक चिन्ह एवं शाल-श्रीफल भेंट किए गए।
सूर्यपुरा हाऊस में आयोजित उक्त अवसर पर त्रिपुरा के पूर्व राज्यपाल प्रो. सिद्धेश्वर प्रसाद, प्रसिद्ध साहित्यकार डॉ. महीप सिंह, कवि रामकुमार कृषक एवं कथा लेखिका उषाकिरण खान
आदि बड़ी संख्या में साहित्यकार उपस्थित थे। इसके पूर्व डॉ. सुश्री शरद सिंह को
उनके स्त्रीविमर्श संबंधी लेखन के लिए बुन्देली लोककला संगम संस्थान, शाखा लखनऊ द्वारा प्रतिष्ठित ‘गुरदी देवी सम्मान’ प्रदान किया गया। सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग
लखनऊ, उत्तर प्रदेश के प्रेक्षागृह में आयोजित कार्यक्रम
में उन्हें स्मृति चिन्ह सहित प्रशस्तिपत्र एवं पांच हजार रुपए की सम्मानराशि भेंट
की गई। साहित्य के क्षेत्र में बुंदेलखंड सागर का नाम गौरवान्वित करने के लिए डॉ.
शरद सिंह के मित्रों एवं शुभचिन्तकों ने बधाई दी है।
प्रधानमंत्री को लिखा
सांसद ने पत्र
सागर जिले को पिछड़ा क्षेत्र अनुदान
निधि में शामिल करने की मांग
सागर। लोकसभा
में वाणिज्य और उद्योग राज्य मंत्री द्वारा दिए गए जबाव के परिपे्रक्ष्य में
प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को भेजे पत्र में सांसद भूपेन्द्र सिंह ने मांग की है कि
सागर जिले को पिछड़ा क्षेत्र अनुदान निधि स्कीम में शामिल किया जाये।
लोकसभा में सांसद भूपेन्द्र सिंह ने प्रश्र
किया कि यदि बुन्देलखंड क्षेत्र को औद्योगिक रूप से पिछड़े क्षेत्र में शामिल किया
गया है तो उसका ब्यौरा क्या है। जबाव में वाणिज्य और उद्योग राज्य मंत्री डॉ. एस.
जगतरक्षकन ने बताया है कि बुन्देलखंड क्षेत्र के दमोह, टीकमगढ़, छतरपुर और पन्ना जिले योजना आयोग की पिछड़ा
क्षेत्र अनुदान निधि के अंतर्गत आते हैं। लोकसभा में मिली उक्त जानकारी के
परिपे्रक्ष्य में सांसद भूपेन्द्र सिंह ने प्रधानमंत्री को भेजे पत्र में लेख किया
है कि बुन्देलखंड अत्यंत पिछड़ा हुआ है, जिसमें सागर संभाग
के पाँचों जिले सागर, दमोह, टीकमगढ़,
छतरपुर और पन्ना शामिल हैं। सागर संभाग में बड़े उद्योग और कारखाने
नहीं होने से आर्थिक उन्नति नहीं हो पा रही है।
इस तथ्य को जानते हुए ही केन्द्र सरकार
ने विगत वर्षों में बुन्देलखंड को विशेष पैकेज दिया था। सागर संभाग में आर्थिक और
औद्योगिक पिछड़ेपन के जो हालात दमोह, टीकमगढ़, छतरपुर,
पन्ना जिलों में हैं, ठीक वैसे ही हालात सागर जिले के भी हैं। बावजूद
इसके सागर जिला पिछड़ा क्षेत्र अनुदान निधि के अंतर्गत शामिल नहीं है और यह समझ से
परे है कि पिछड़े जिलों की पहचान करने के सरकार के मानदंड क्या हैं। सांसद श्री
सिंह ने पत्र में लेख किया है कि चूँकि संतुलित विकास को प्रोत्साहित करने में
केन्द्र सरकार की महत्वपूर्ण भूमिका है। अत: सागर जिले को भी पिछड़ा क्षेत्र
अनुदान निधि के अंतर्गत शामिल किया जाये। पत्र की प्रति योजना आयोग के उपाध्यक्ष
मोंटेक सिंह अहलुवालिया को भी भेजी गयी है।
लूट का प्रकरण दर्ज
सागर। थाना बहेरिया
के अप0क्र0 334/12 के तहत धारा 394 ता0हि0 का अपराध दर्ज किया गया है। घटना चकेरी क्षेत्र की है। प्रार्थी साधू
पिता मंदे रजक उम्र 46 साल नि0 चकेरी ने रिपोर्ट दर्ज कराई कि 04 अज्ञात आरोपीगण फरि0 के हाथ व मुंह बांधकर 28 बकरा कीमत 20.000-रु के वाहन मे लादकर ले गए। अज्ञात आरोपियों के विरूद्ध प्रकरण दर्ज
किया गया है।